ऊष्मपाः (Usmapas)
ऊष्मपाः means ऊष्मभागा हि पितरः ( taittiriya brahmana 1।3।10।6) – Those ancestors who feed on hot food
According to Shiva Mahapurana Dharama Samhita 63.2 , there are seven type of Pitrs (departed ancestors) – कव्यवाह अनल, सोम, यम, अर्यमा, अग्निष्वात्त और बर्हिषत्
Reference in Mahabharata
Mentioned in Mahabharata shanti parva 284.8, where the type of yagna devata are defined
ऊष्मपाः सोमपाश्चैव धूमपा आज्यपास्तथा !
ऋषयः पितरश्चैव आगता ब्रह्मणा सह!
ऊष्मप: – सूर्य किरणों का पान करने ( ऊष्मा पिबतीति )
सोमप: – सोमरस पीने वाले ( सोमं पिबतीति )
धूमप: – यज्ञ का धूम पीने वाले ( धूमं पिबतीति )
आज्यप: – घृत पान करने वाले ( आज्यं पिबतीति )
Reference in Bhagavata Gita 11.22
रुद्रादित्या वसवो ये च साध्या विश्वेऽश्विनौ मरूतश्चीष्मपाश्च ।
गन्धर्वयक्षासुरसिद्धसंघा वीक्षन्ते त्वां विस्मिताश्चैव सर्वे ॥22॥
जो ग्यारह रुद्र, बारह आदित्य, आठ वसु, बारह साध्यगण, दस विश्वेदेव और दो अश्विनीकुमार, उनचास मरुद्गण, सात पितृगण तथा गन्धर्व, यक्ष, असुर और सिद्धोंके समुदाय हैं, वे सभी चकित होकर आपको देख रहे हैं।